शुक्र. मई 17th, 2024

कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय के वैज्ञानिकों द्वारा प्रयोगशाला में एक ‘मिनीब्रेन’ विकसित किया है।इस शोध को सेल स्टेम सेल जर्नल पत्रिका में प्रकाशित किया गया है। वैज्ञानिकों द्वारा विकसित ‘मिनीब्रेन’ को सेरेब्रल ऑर्गेनोइड्स के रूप में जाना जाता है।

मिनीब्रेन या सेरेब्रल ऑर्गेनॉइड

  • इसका विकास स्टेम कोशिकाओं से किया जाता है।
  • स्टेम कोशिकाएं या तो वयस्क मानव कोशिकाओं से ली जाती हैं या मानव भ्रूण ऊतक से ली जाती हैं।
  • इस प्रकार वैज्ञानिक वयस्क कोशिकाओं को इकट्ठा करते हैं और फिर उन्हें स्टेम सेल जैसी स्थिति में लाने के लिए उन्हें रसायनों के संपर्क में लाते हैं।
  • इसके पश्चात् वैज्ञानिक इन स्टेम कोशिकाओं को एक प्रोटीन युक्त मैट्रिक्स में एम्बेड करते हैं।
  • मैट्रिक्स : यह एक ऐसा पदार्थ है, जो कोशिकाओं के विभाजन में सहायता करता है और एक 3डी आकार बनाता है।
  • यह मानव मस्तिष्क कोशिकाओं के पिनहेड आकार के गुच्छों की तरह दिखते हैं।

मिनीब्रेन या ऑर्गेनॉइड का महत्व

  • मिनीब्रेन या ऑर्गेनॉइड का उपयोग, अनुसंधान, दवा विकास और कंप्यूटर विज्ञान में भी उपयोगी हो सकता है।
  • यह ऑर्गेनॉइड मानव जीव विज्ञान के उन पहलुओं को समझाने में सहायक हो सकते हैं, जिनका जानवरों (जैसे- चूहों) में अध्ययन करना मुश्किल होता है।
  • इन्हें मस्तिष्क के विभिन्न क्षेत्रों से विशिष्ट प्रकार की कोशिकाओं को शामिल करने के लिए भी विकसित किया जा सकता है।
  • इसका उपयोग तंत्रिका रोगों की उत्पत्ति और संभावित उपचार की जांच के लिए किया जा सकता है।

स्टेम सेल

  • यह एक विशेष प्रकार की कोशिकाएँ होती हैं।
  • स्टेम कोशिकाएँ शरीर के लगभग सभी ऊतकों में पाई जाती हैं।
  • ये ऊतकों के रखरखाव के साथ-साथ चोट के बाद मरम्मत के लिए भी आवश्यक होते हैं।
  • इन कोशिकाओं में कई अलग-अलग प्रकार की कोशिकाओं विकसित करने की क्षमता होती है। जैसे-रक्त कोशिकाएँ, मस्तिष्क कोशिकाएँ, हृदय मांसपेशी कोशिकाएँ या हड्डी कोशिकाएँ।
  • ये कोशिकाएँ शरीर में विभाजित होकर अपनी तरह की अत्यधिक कोशिकाएँ बनाती हैं, जिन्हें बेटी कोशिकाएँ (Daughter cells)कहा जाता है।

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