बुध. मई 8th, 2024

अनुराग ठाकुर ने सुप्रसिद्ध अभिनेत्री वहीदा रहमान को वर्ष 2021 के दादा साहब फाल्के लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार से सम्मानित करने की घोषणा की।वहीदा रहमान को 53वें दादा साहब फाल्के लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा।यह पुरस्कार 69वें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार समारोह के दौरान प्रदान किया जाएगा।वहीदा रहमान ने प्यासा, कागज के फूल, चौदहवी का चांद, साहेब बीवी और गुलाम, गाइड, खामोशी और कई अन्य प्रमुख हिंदी फिल्मों में अपनी भूमिकाओं के लिए बेहद ख्याति अर्जित की है।

निम्नलिखित सदस्य दादा साहब फाल्के पुरस्कार चयन समिति का हिस्सा थे

  1. सुश्री आशा पारेख
  2. श्री चिरंजीवी
  3. श्री परेश रावल
  4. श्री प्रसेनजीत चटर्जी
  5. श्री शेखर कपूर

वहीदा रहमान

  • वहीदा रहमान का जन्म 3 फरवरी 1938 को चेन्नई में हुआ।
  • उन्होंने 1955 में तेलुगू इंडस्ट्री में कदम रखा।
  • इसके बाद उन्हें हिंदी सिनेमा में पहला ब्रेक 1956 में सीआईडी फिल्म से मिला।
  • आखिरी बार वहीदा रहमान ने साल 2021 में आई मराठी फिल्म स्केटर गर्ल में काम किया था।

अभिनेत्री वहीदा रहमान की उपलब्धियाँ 

  • पांच दशक से लंबे करियर में 90 से अधिक फिल्मों में काम किया है।
  • उन्हें  गाइड (1965) और नील कमल (1968) में अपनी भूमिकाओं के लिए फिल्मफेयर की सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार प्राप्त हुआ।
  • उन्होंने सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का राष्ट्रीय पुरस्कार (1971) भी जीता।
  • 1972 में भारत सरकार ने उन्हें पद्म श्री से सम्मानित किया।
  • 2011 में उन्हें पद्म भूषण से अलंकृत किया गया।
  • फिल्म रेशमा और शेरा में उनकी उत्कृष्ट भूमिका के लिए उन्हें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार से नवाजा गया।

दादा साहब फाल्के पुरस्कार

  • भारतीय फिल्म जगत का सर्वोच्च सम्मान माना जाता है।
  • यह भारत सरकार की ओर से दिया जाने वाला एक वार्षिक पुरस्कार है।
  • किसी व्यक्ति विशेष को भारतीय सिनेमा में उसके आजीवन योगदान के लिए दिया जाता है।
  • इस पुरस्कार का प्रारम्भ दादा साहब फाल्के के जन्म शताब्दी-वर्ष 1969 से हुआ।
  • उस वर्ष राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार के लिए आयोजित 17वें समारोह में पहली बार यह सम्मान अभिनेत्री देविका रानी को प्रदान किया गया।
  • 52वें दादा साहब फाल्के अवॉर्ड अभिनेत्री आशा पारेख को साल 2022 में सम्मानित किया गया था।

राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार

  • 1954 में स्थापित, राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार देश में सबसे प्रतिष्ठित कार्यक्रमों में से एक है।
  • भारत के राष्ट्रपति फिल्मों के प्रदर्शन के समापन में विजेताओं को पुरस्कार प्रदान करते हैं।
  • पुरस्कारों का उद्देश्य-
  • सिनेमाई रूप में देश के विभिन्न क्षेत्रों की संस्कृतियों की समझ और योगदान देने वाली तकनीकी उत्कृष्टता और सामाजिक प्रासंगिकता फिल्मों के निर्माण को प्रोत्साहित करना है, जिससे राष्ट्र की एकता और अखंडता को भी बढ़ावा मिलता है।
  • पुरस्कार तीन वर्गों में दिए जाते हैं- फीचर, गैर-फीचर फ़िल्म और सिनेमा पर सर्वोत्तम लेखन।
  • 1973 से, भारतीय फिल्म महोत्सव निदेशालय प्रतिवर्ष भारत में अन्य प्रमुख फिल्म कार्यक्रमों के साथ-साथ समारोह का संचालन करता है।

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